उत्तराखंड
हर व्यक्ति को न्याय पाने का अधिकारः न्यायमूर्ति तिवारी
उत्तराखंड के मुख्य न्यायाधीश ने बड़कोट में विधिक साक्षरता एवं बहुद्देश्यीय शिविर में की शिरकत
बड़कोट/उत्तरकाशी। उत्तराखंड उच्च न्यायालय के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनोज कुमार तिवारी ने कहा कि हर व्यक्ति को न्याय पाने का अधिकार है और हर नागरिक तक इस अधिकार की पहुंच सुनिश्चित कराना हम सभी की जिम्मेदारी है। इस दिशा में विधिक साक्षरता शिविर महत्वपूर्व भूमिका निभा रहे हैं।
न्यायमूर्ति मनोज कुमार तिवारी बड़कोट में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा आयोजित विधिक साक्षरता एवं बहुद्देश्यीय शिविर में बतौर मुख्य अतिथि बोल रहे थे। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि ऐसे शिविरों के माध्यम से दूरदराज के क्षेत्रों में भी लोगों को कानून की जानकारी के साथ-साथ उन्हें एक ही स्थान पर राज्य की विभिन्न योजनाओं का लाभ दिलाने का महत्वपूर्ण प्रयास किया जा रहा है। यह शिविर कानून प्रदत्त अधिकारों की सुरक्षा के लिए आम लोगों को उचित कदम उठाने के लिए भी प्रोत्साहित करतेे हैं। उन्होंने कहा कि विधिक सेवा प्राधिकरण और तालुका विधिक सेवा समितियाँ विभिन्न कानूनी सेवाएँ प्रदान कर यह सुनिश्चित करती हैं कि प्रत्येक व्यक्ति, चाहे वह किसी भी समाज, जाति, या वर्ग से संबंधित हो, न्याय प्राप्त कर सके।
न्यायमूर्ति तिवारी ने कहा कि आम लोगों को नए आपराधिक कानूनो के साथ-साथ मोटर व्हीकल एक्ट, एनडीपीएस एक्ट, पॉक्सो एक्ट आदि की जानकारी होना आवश्यक है। उन्होंने तजोर दिया कि बच्चों के कानूनी अधिकारों की रक्षा करना और उन्हें यह बताना कि उनके पास क्या अधिकार हैं, हमारी प्राथमिकता होनी चाहिए। इन शिविरों के माध्यम से हम यह सुनिश्चित करने का प्रयास कर रहे है कि हर व्यक्ति, विशेषकर बच्चे, महिला और विकलांग व्यक्ति निःशुल्क कानूनी सहायता प्राप्त कर सकें। उन्होंने कहा कि हमें न्याय की प्रक्रिया में पारदर्शिता, जिम्मेदारी और निष्पक्षता को सुनिश्चित करना होगा। इस शिविर का आयोजन इस तथ्य की पुष्टि करता है कि हमें राज्य के दूरस्थ क्षेत्रों में विधिक साक्षरता और सहायता की आवश्यकता है। इन शिविरों के माध्यम से हम नागरिकों तक न केवल कानूनी आनकारी पहुंचाते हैं, बल्कि उन्हें यह महसूस कराते हैं कि कानून उनके साथ है. और न्याय की कोई सीमा नहीं होती।
उन्होंने कहा कि हर व्यक्ति को समाज में अपना योगदान देना चाहिए। ऐसा योगदान किसी भी रूप में हो सकता है, जिससे हमारे समाज का विकास हो। कभी भी नाकामयाबी या असफलता से घबराना नहीं चाहिए, बल्कि हिम्मत के साथ अपने काम को अजाम तक पहुँचाने की कोशिश करनी चाहिए। न्यायमूर्ति तिवारी ने शिविर के सफल आयोजन हेतु जिला विधिक सेवा प्राधिकरण एवं जिला प्रशासन के योगदान की सराहना भी की।
इस अवसर पर उत्तराखंड उच्च न्यायालय के न्यायाधीश न्यायमूर्ति पंकज पुरोहित ने अपने विचार रखते हुए उत्तराखंड की सांस्कृतिक समृद्धि को अक्षुण्ण बनाए रखने का आह्वान किया। उन्होंने तुनाल्का में संचालित विजया पब्लिक स्कूल द्वारा दृष्टिबाधित बच्चों की शिक्षा एवं सशक्तिकरण के लिए किए जा रहे प्रयासों की सराहना की। कार्यक्रम में राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के सदस्य सचिव प्रदीप कुमार मणि ने भी अपने विचार रखते हुए प्राधिकरण की गतिविधियों की जानकारी दी।
इस मौके पर जिला जज गुरूबक्श सिंह ने अतिथियों एवं उपस्थित लोगों का धन्यवाद ज्ञापित किया तथा जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की सचिव श्वेता राणा चौहान ने प्राधिकरण के कामकाज का ब्यौरा भी प्रस्तुत किया।